बनकोट
बनकोट बनकोट पुरास्थल उत्तराखण्ड के पिथौरागढ़ जनपद के नवनिर्मित गणाई-गंगोली तहसील में स्थित एक पर्वतीय गांव है, जिसे ब्रिटिश कालीन पट्टी अठिगांव, परगना गंगोली, जनपद अल्मोड़ा में के रूप में चिह्नित कर सकते हैं। जिस पहाड़ी की उत्तरी पनढाल पर बनकोट गांव बसा है, उसके दक्षिणी पनढाल में सरयू नदी प्रवाहित है। इस गांव के उत्तरी पनढाल का जल सरयू की एक सहायक नदी कुलूर नदी में गिरता है। भौगोलिक स्थिति एवं ऐतिहासिक अनुक्रम के आधार पर कह सकते हैं कि यह गांव चौदहवीं सदी में मणकोट और पूर्व काल में कत्यूरी राजवंश के अधीन था। गंगोली का प्रथम ऐतिहासिक राजवंश मणकोटी मान्य है और इस वंश का शासन मणकोट (गंगोलीहाट के निकटवर्ती सुनार गांव के पूरब में स्थित प्राकृतिक दुर्ग) से संचालित था। सोलहवीं सदी में चंद शासक बालो कल्याणचंद ने गंगोली पर अधिकार कर लिया और इसके साथ ही यह गांव भी चंद राज्य के अधीन आ गया। चंद कालीन एक ताम्रपत्र बनकोट के निकट गणाई-गंगोली से प्राप्त हुआ है, जिसमें शाके 1532 (सन् 1610 ई.) उत्कीर्ण है। इस ताम्रपत्र में ‘श्री राजाधिराज पृथ्वीचन्द्र रजवार’ उत्कीर्ण है। रजवार नामान्त से स्पष्ट है